लखनऊ विश्वविद्यालय: चार साल का यूजी, कॉमन सिलेबस तीन साल का

नई शिक्षा नीति (एनईपी) के तहत लागू किये जा रहे कॉमन मिनिमम सिलेबस (सीएमएस) को लेकर विरोध व आपत्ति मुखर हो रही हैं। लखनऊ विश्वविद्यालय की साइंस फैकेल्टी बोर्ड में इस पर सहमति नहीं बन सकी। वहीं, शिक्षकों ने इसमें कई खामियां बताईं। बताया गया है कि एनईपी में स्नातक की पढ़ाई चार साल के करने की बात है जबकि कॉमन मिनिमम सिलेबस तीन साल का ही तैयार किया गया है। विद्यार्थी एक साल क्या पढ़ाई करेगा?

लविवि में कॉमन मिनिमम सिलेबस को लागू करने व बिना चर्चा का समय दिए लागू करने का लगातार विरोध चल रहा है। इसके बाद भी विवि प्रशासन इसके सिलेबस को एप्रूव कराने की कवायद कर रहा है। इसी क्रम में शॉर्ट नोटिस पर साइंस फैकल्टी बोर्ड की बैठक बुलाई गई थी। कई शिक्षकों व हेड ने उक्त मुद्दा उठाया।

इसी क्रम में कहा गया कि पीजी में एनईपी कंडीशनल लागू करने की बात कही गई थी क्या उसकी औपचारिकता पूरी की गई। पिछली बैठक का कार्यवृत्त भी नहीं दिया गया। बैठक में फैकल्टी के 9 में 7 विभाग कॉमन मिनिमम सिलेबस से सहमत नहीं थे। सभी ने कहा कि विवि को अपना सिलेबस बनाने की स्वतंत्रता मिलनी चाहिए। क्योंकि एनईपी एकेडमिक फ्लेक्सिबिलिटी की बात करती है। कुछ थोपने को नहीं कहती है। वहीं, कुछ शिक्षकों ने कहा कि हमें पहले एनईपी के प्रोटोकॉल को लागू करना होगा। इसके बाद कॉमन मिनिमम सिलेबस को प्रभावी बनाने के बारे में चर्चा करनी होगी।
लविवि के विज्ञान संकाय की विशेषता

  • एक्सरे फिजिक्स की पढ़ाई यूपी में सिर्फ लविवि में
  • स्पेक्ट्रोस्कोपी के क्षेत्र में विवि की विशेषगता है
  • जियोलॉजी में सेंडीमेंटोलॉजी की विशेष पढ़ाई
  • स्ट्रक्चरल जियोलॉजी की पढ़ाई प्रदेश में कम जगह
  • यहां के विद्यार्थियों को नवरत्न कंपनियों में वरीयता मिलती है
  • लविवि के विज्ञान संकाय के शोध का स्तर काफी उच्च है

लूटा के अध्यक्ष डॉ. विनीत वर्मा का कहना है कि कॉमन मिनिमम सिलेबस की भारत सरकार की नई शिक्षा नीति 2020 के प्रतिकूल है। विज्ञान संकाय फैकेल्टी बोर्ड ने उचित निर्णय लिया है। नई शिक्षा नीति लागू करने से पहले यह जरूरी है कि विश्वविद्यालयों के साथ-साथ सभी महाविद्यालयों में भी आवश्यक ढांचा तैयार कर लिया जाए अन्यथा नई शिक्षा नीति अपने उद्देश्यों को प्राप्त नहीं कर पाएगी।

लूटा के महामंत्री डॉ. राजेंद्र वर्मा का कहना है कि विज्ञान संकाय की फैकल्टी बोर्ड द्वारा कॉमन मिनिमम सिलेबस पर लिए गए निर्णय का लूटा स्वागत करती है। साथ ही सरकार से मांग करती है की वह विश्वविद्यालयों की अकादमिक स्वायतता को बरकरार रखें। उनको अपना सिलेबस बनाने की स्वतंत्रता दें।

Powered by themekiller.com anime4online.com animextoon.com apk4phone.com tengag.com moviekillers.com