संकट कटे मिटे सब पीरा, जो सुमिरै हनुमत बलबीरा…हनुमान चालीसा की ये चौपाई बताती है कि जो भक्त हनुमान जी का सुमिरन करता है। उसके जीवन में आने वाले सारे कष्ट और संकट मिट जाते हैं। उसके जीवन का कल्याण हो जाता है। हनुमान जी का आशीर्वाद पाने के लिए भक्तों को मंगलवार और शनिवार को बस एक कार्य करना चाहिए और वो है हनुमान जी को सिंदूर चढ़ाने का। हनुमान जी को प्रसन्न करने का यह सबसे उत्तम उपाय है। सिंदूर बजरंगबली को बहुत प्रिय है। इसलिए हनुमान जी को सिंदूर अर्पित करना और लेपन करना अत्यंत शुभ माना जाता है।
सिंदूर का महत्व
हिंदू धर्म में भी सिंदूर को बहुत महत्व दिया जाता है। सिंदूर का प्रयोग दांपत्य जीवन की खुशहाली के लिए भी किया जाता है। कहते हैं सिंदूर मुख्यत नारंगी रंग का होता है। महिलाएं इसे सौभाग्य और श्रृंगार के लिए प्रयोग करती हैं। बिना सिंदूर के विवाह की कल्पना भी नहीं की जा सकती है। इसको मंगल ग्रह से जोड़ा जाता हैं, इसलिए इसे मंगलकारी माना जाता है। माता सीता अपने माथे पर सिंदूर लगाती थीं। एकबार हनुमान जी ने उनसे पूछा कि आप माथे पर सिंदूर क्यों लगाती हैं। तो माता सीता ने कहा कि इससे प्रभु श्रीराम बहुत प्रसन्न होते हैं। फिर क्या, ये सुनते ही हनुमान जी ने अपने पूरे शरीर में सिंदूर लगा लिया। कहते हैं तब से हनुमान जी को सिंदूर अति प्रिय है।
हनुमान जी को सिंदूर चढ़ाने से मिटेंगे सारे कष्ट
अगर आप लंबे समय से किसी परेशानी से घिरे हुए हैं और दुखों ने आपको घेर रखा है तो आप मंगलवार और शनिवार के दिन स्नान-ध्यान के पश्चात् स्वच्छ कपड़े धारण करके हनुमान मंदिर में या घर पर बजरंग बली की मूर्ति या चित्र के सामने सिंदूर चढ़ाएं। हनुमान जी की प्रतिमा पर सिंदूर चढ़ाने से पहले उनकी प्रतिमा को गंगा जल से स्नान कराएं। इसके बाद सिंदूर चढ़ाएं। ऐसा करने से आपकी सारी विपदाएं मिट जाएंगी। हालाँकि उन्हें नियमों के साथ सिंदूर चढ़ाने चाहिए।
हनुमान जी को सिंदूर चढ़ाने के नियम
- हनुमान जी को प्रसन्न करने के लिए मंगलवार को सिंदूर अर्पित करना चाहिए।
- अगर मंगल बाधा दे रहा हो या कोई विशेष संकट हो, तो हनुमान जी को चमेली का तेल और सिंदूर अर्पित करना चाहिए।
- पुरुष हनुमान जी को सिंदूर अर्पित कर सकते हैं, लेकिन मान्यता है कि महिलाओं को हनुमान जी को सिंदूर अर्पित नहीं करना चाहिए।
- अगर बार-बार नौकरी छूट जाती हो या बदलनी पड़ती हो, तो सिंदूर का कैसे करें प्रयोग?
- किसी भी मंगलवार को हनुमान जी के चरणों में सिंदूर रखें।
- एक सफेद कागज पर उस सिंदूर से स्वस्तिक बनाएं।