बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री और आरजेडी प्रमुख लालू यादव ने कहा है कि वो नहीं चाहते कि उनके बेटे गरीबी में रहें. दरअसल लालू ने ये बात अपने बेटों के बिजनेस को लेकर कही है. लालू के दोनों बेटों पर बीजेपी ने भ्रष्टाचार करने का आरोपा लगाया है.
पटना के बाहरी इलाके की करीब 60 करोड़ रुपए कीमत वाली 2 एकड़ जमीन के मालिक लालू के दोनों बेटे तेजस्वी यादव, तेज प्रताप यादव और उनकी पत्नी राबड़ी देवी हैं. इस जमीन पर बिहार का सबसे बड़ा मॉल बनाया जा रहा है और इस मॉल को बनाने का जिम्मा लालू की पार्टी के विधायक के पास है.
इस पूरे प्रोजेक्ट की अनुमानित कीमत करीब500 करोड़ रुपए है. एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में लालू ने कहा कि मॉल का आधा हिस्सा बिल्डर का होगा, जब कि आधे हिस्से पर कंपनी का हक होगा.
वहीं बीजेपी नेता सुशील कुमार मोदी लगातार इस जमीन को लेकर लालू के परिवार पर भ्रष्टाचार में लिप्त होने का आरोप लगाते आ रहे हैं. उनका कहना है कि जमीन अवैध रूप से लालू के परिवार को ट्रांसफर की गई है.
उल्लेखनीय है कि सुशील मोदी ने आरोप लगाया था कि 25 फरवरी 2005 को तत्कालीन रेल मंत्री लालू प्रसाद ने हर्ष कोचर को रेलवे के दो होटल रांची और पुरी के बदले पटना के सगुना मोड़ के पास दो एकड़ से ज्यादा जमीन बेनामी तरीके से डिलाईट मार्केटिंग प्राइवेट लिमिटेड के नाम रजिस्ट्री करवा ली थी.
मॉल निर्माण को लेकर लालू समेत उनके दोनों बेटों पर निशाना साधते हुए सुशील मोदी ने कहा था कि बिहार के इस सबसे बड़े मॉल का निर्माण आरजेडी विधायक अबू दोजाना करा रहे हैं और बिना टेंडर किए हुए मॉल की मिट्टी पटना के जू को बेच दी गई है. जनता दरबार के बाद मोदी ने कहा था कि जू में मिट्टी की इतनी जरुरत नहीं थी लेकिन शॉपिंग मॉल के मिट्टी को ठिकाना लगाना था इसलिए 90 लाख का टेंडर दिया गया.
सुशील मोदी के आरोपों पर अपनी चुप्पी तोड़ते हुए लालू ने कहा कि यह आरोप पूरी तरह से निराधार और बेतुका है कि उक्त जमीन हस्तगत किए जाने के बदले हमने अपने रेलमंत्रित्व काल के दौरान हर्ष कोचर को रांची और पूरी में रेलवे का होटल आवंटित कराया था.
यह पूछे जाने पर कि प्लॉट और उसपर निर्माणाधीन मॉल किसका है, लालू ने कहा कि वह उस कंपनी का है जिसमें शेयरधारक उनकी पत्नी राबड़ी देवी और उनके दोनों पुत्र तेजप्रताप यादव और तेजस्वी यादव हैं. वह इसे अपने संपत्ति ब्योरे में दर्शाते आ रहे हैं.