प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को ड्रोन के जरिए देशभर में लाइट हाउस प्रोजेक्ट की समीक्षा की। उन्होंने लखनऊ अवध शिल्प ग्राम में गरीबों के लिए बनाए जा रहे फ्लैटों के कामकाज की समीक्षा की। यहां चार ब्लाकों में 1040 मल्टी स्टोरी आवास बनाए जा रहे हैं। ड्रोन को सभी ब्लाकों के पास ले जाकर स्थिति दिखाई गई। प्रगति पर प्रधानमंत्री ने संतोष व्यक्त किया। प्रधानमंत्री ने एक जनरी 2021 को लाइट हाउस प्रोजेक्ट को लांच किया था।आवासों के लिए 15 जुलाई तक सूडा या डूडा की वेबसाइट पर ऑनलाइन पंजीकरण कराया जा सकता है।
2022 में परियोजना के पूरे होने का लक्ष्य
अवध शिल्प ग्राम में योजना की प्रगति को दिखाने के लिए परियोजना स्थल पर जर्मन हैंगर में व्यवस्था की गई थी। केंद्रीय शहरी विकास मंत्रालय के सचिव दुर्गा शंकर मिश्र ने देश के छह राज्यों के शहरों में बन रहे आवासों की स्थिति से अवगत कराया। लखनऊ के बारे में बताया गया कि यह मकान कनाडा की स्टे इन प्लेस फ्राम वर्क तकनीकी बनाए जा रहे हैं। कोरोना के कारण काम में थोड़ी देरी हो गई, लेकिन अब दो शिफ्ट में दिन रात काम कराया जा रहा है। फाउंडेशन तैयार हो चुका है। बीम, दीवार व छत अलग से तैयार किए जा रहे हैं। उनको जोड़ने का काम तेजी से किया जाएगा। निर्धारित लक्ष्य जनवरी 2022 तक परियोजना के पूरा होने की कोशिश है।
15 जुलाई तक होगा आवेदन
आवासों के लिए 15 जुलाई तक सूडा या डूडा की वेबसाइट पर ऑनलाइन पंजीकरण कराया जा सकता है। योजना पूरी तरह केंद्र पोषित है। एक आवास की कीमत 12.59 लाख रुपए है। लेकिन लाभार्थी को 4.75 लाख रुपए ही देने होंगे। शेष केंद्र व राज्य सरकार अनुदान के रूप में सीधे निर्माण एजेंसी को देगी। पंजीकरण के समय पांच हजार रुपए जमा होगा। आवंटन के वक्त 45 हजार रुपए जमा करना होगा। इसके बाद हर तीसरे माह 1.19 लाख की किस्त देनी होगी। बैंकों से ऋण की व्यवस्था भी कराई जा रही है। उन्होंने बताया कि अब तक 837 आवेदन आ चुके हैं। 15 अगस्त तक आवेदनों की जांच होगी।
शॉपिंग कॉम्पलेक्स की होगी सुविधा
1040 आवास की यह योजना करीब दो एकड़ में विकसित हुई है। आवास विकास की ओर से डूडा को जमीन दी गई है। यहां रहने वालों के लिए शॉपिंग कॉम्पलेक्स और कम्युनिटी सेंटर का निर्माण होगा। 14 मंजिल के भवन में भूतल को पार्किंग के लिए आरक्षित किया गया है। लिफ्ट के साथ सीवर लाइन, पानी की पाइप लाइन, एसटीपी, फायर फाइटिंग सिस्टम की भी व्यवस्था रहेगी।