कोरोना की दूसरी लहर में भयावह होते हालात के बीच पुलिस कर्मी ड्यूटी निभा रहे हैं। लखनऊ कमिश्नरेट से लेकर लखनऊ ग्रामीण में तैनात कई अधिकारी और कर्मचारी कोविड पाजिटिव हो चुके हैं। जो फील्ड में है वह जरूरतमंदों की मदद करने का भरसक प्रयास कर रहे हैं। खुद को खतरा मोल लेते हुए दूसरों को कोविड दिशा निर्देशों का पालन करने के लिए कह रहे हैं। लेकिन कुछ सिरफिरों को पुलिस की यह सलाह नागवार गुजर रही है। ऐसे हालात में पुलिस कर्मियों के साथ मारपीट की घटनाएं बढ़ी हैं।
पुलिस कमिश्नर ध्रुवकांत ठाकुर ने पुलिस से बदसलूकी करने वालों को चेताया है। साथ ही शहरवासियों से उन्होंने अपील भी की है। वे कहते हैं कि कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए बचाव ही सबसे कारगर हथियार है। मास्क लगाना, दो गज की दूरी का पालन करना, बेवजह घर से बाहर नहीं जाना और हाथ सैनिटाइज करने भर से कोरोना के खतरे को काफी हद तक टाला जा सकता है। उन्होंने कहा कि पुलिस कर्मियों को हमेशा विपरीत परिस्थिति में काम करना होता है। कोरोना काल भी इससे अलग नहीं है।
हम ड्यूटी निभाने के साथ ही सेवाभाव से जरूरतमंदों की मदद कर रहे हैं। साथ ही कोविड दिशा निर्देशों का उल्लंघन करने वालों को समझा भी रहे हैं।बीते दिनों कुछ घटनाएं सामने आईं हैं। जिसमें पुलिस के टोकने पर लोग उग्र व्यवहार करते पाए गए हैं। जिनके खिलाफ कार्रवाई की गई है। उन्होंने शहरवासियों से कोरोना से बचाव के लिए सुझाए गए निर्देशों का पालन करने की अपील भी की है।
पुलिस अधीक्षक लखनऊ ग्रामीण हृदयेश कुमार बताते हैं कि पंचायत चुनाव को सकुशल सम्पन्न कराने के साथ ही लोगों को कोरोना संक्रमण के प्रति जागरुक करने का काम भी हमने किया है। इसके बाद भी लोग मास्क पहनने में कोताही बरते हैं। जिन पर सख्ती करनी पड़ती है।वह कहते हैं कि मास्क अपनी सुरक्षा के लिए पहनना चाहिए, पुलिस के डर से नहीं। यह बात हर व्यक्ति को समझनी होगी। सुझाए गए दिशा निर्देशों का पालन करके ही इस महामारी पर काबू पाया जा सकता है।