काशी विश्वनाथ मंदिर में बीते दिनों पूजा के दौरान बिजली गुल होने के मुद्दा सियासी गलियारों में गरम है। एक ओर पीएम काशी की बिजली कटौती को लेकर प्रदेश सरकार पर निशाना साध चुके हैं। वहीं, सीएम भी लगातार दावा करते रहे हैं कि बनारस को 24 घंटे बिजली दी जा रही है।
इसी बीच विश्वनाथ मंदिर में सीएम अखिलेश, राहुल और डिंपल यादव के दर्शन-पूजन के दौरान मंदिर में बिजली का गुल हो गई। इसे लेकर मंगलवार को भी सीएम ने लखनऊ में प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि ये किसी अफसर की हरकत थी।
आरती के दौरान पंखा बंद करने के लिए कहा गया था, किसी ने लाइट का स्विच ऑफ कर दिया। इधर, मामला गरम होते देख विभागीय अधिकारियों की नींद उड़ी है। चुनावी जनसभाओं में बनारस में बिजली आपूर्ति को लेकर पीएम-सीएम में तभी वाक्युद्ध शुरू हो गया था जब वे बनारस नहीं आए थे।
चार मार्च को पीएम नरेंद्र मोदी और सीएम अखिलेश वाराणसी में थे। सीएम ने दिन में हुई जनसभाओं में कहा कि पीएम भी यहीं हैं। आज तो उन्हें पता चल गया होगा कि बनारस को कितनी बिजली मिलती है।
हालांकि विभागीय अफसरों का कहना था कि सीएम और राहुल के रोड शो के दौरान सुरक्षा के मद्देनजर बिजली काटी गई थी। एक दिन पहले वाराणसी में फिर अफसरों ने सफाई दी कि एसपीजी के निर्देश पर सतर्कतावश ऐसा किया गया।उधर, बिजली को लेकर पीएम-सीएम की जुबानी जंग के बीच अफसर सकते में हैं। आला अधिकारियों ने मातहतों को निर्देश दे रखा है कि किसी भी इलाके की बिजली बगैर उनकी जानकारी के नहीं काटी जाएगी। यहां तक के विकास कार्यों के नाम पर जो शटडाउन लिया जा रहा था उसे भी बंद कर दिया गया है।