एडीजी, आईजी और एसपी पहुंचे घटनास्थल

एडीजी प्रयागराज प्रेम प्रकाश, आईजी केपी सिंह व एसपी आकाश तोमर सोमवार को फोरेंसिक टीम लेकर कटरा में उस स्थान पर पहुंचे जहां सुलभ की लाश पाई गई थी। घटनास्थल का निरीक्षण कर अधिकारियों ने आसपास के लोगों से घटना के बारे में जानकारी जुटाई। जांच में लगी टीमों को आवश्यक निर्देश दिए। एसपी आकाश तोमर का कहना है कि भले ही घटनास्थल हादसे की ओर इशारा कर रहा है लेकिन जांच में कोई कसर नहीं छोड़ी जाएगी।

वह अपनी देखरेख में जांच कराएंगे। घटना के किसी भी एंगल को छोड़ा नहीं जाएगा। घटनास्थल के आसपास के मोबाइल टावरों की भी छानबीन की जा रही है ताकि घटनास्थल के समय आसपास मौजूद लोगों की टोह मिल सके।

मकान के लिए भी तनाव में रहते थे सुलभ

प्रतापगढ़। मौत का शिकार हुए टीवी चैनल के पत्रकार सुलभ को अपने आवास की भी चिंता थी। कुछ लोगों की नजर उनके मकान पर थी। ऐसी आशंका से वह परेशान थे। नगर कोतवाली के पश्चिमी सहोदरपुर स्थित स्टेशन रोड के जिस मकान में सुलभ रहते हैं वह पट्टे पर बताया जाता है।

सुलभ ने अपने कई पत्रकार साथियों से कहा था कि कुछ लोग उनके मकान का पट्टा खत्म होने की बात कह रहे हैं। लेकिन एडीजी को भेजे गए प्रार्थना पत्र में सुलभ ने मकान पर कब्जे के प्रयास का मामला नहीं दर्शाया था। सोमवार को डीएम डॉ. नितिन बंसल ने आश्वासन दिया कि उनका प्रयास रहेगा कि मकान से जुड़ी समस्या का समाधान हो जाए।

एडीजी के सामने सड़क पर बैठकर की नारेबाजी

प्रतापगढ़। सोमवार दोपहर पोस्टमार्टम के बाद सुलभ का शव घर पहुंचा तो मीडियाकर्मियों, नेताओं व जिले के गणमान्य लोगों की भीड़ मौजूद थी। इसी बीच एडीजी प्रयागराज प्रेम प्रकाश, डीएम डॉ. नितिन बंसल, एसपी आकाश तोमर पीड़ित परिवार को ढांढस बंधाने पहुंच गए।

पुलिसकर्मियों ने लाश को अंतिम संस्कार के लिए ले जाने की बात कही तो पहले से आक्रोशित लोग भड़क गए। सड़क पर बैठकर पुलिस प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी करते हुए सवाल उठाने लगे के पुलिस से गुहार लगाने के बाद भी कैसे हत्या हो गई। मदद व कार्रवाई का आश्वासन देने पर लोग माने।

पेट में लगी चोट बनी मौत की वजह

प्रतापगढ़। सुलभ के शव का पोस्टमार्टम 2 डॉक्टरों के पैनल ने वीडियोग्राफी के साथ किया। पेट में गंभीर चोट थी। किडनी फट गई थी। आंख के थोड़ा ऊपर भी चोट के निशान थे।

किसी के पीछा करने पर तो नहीं टकराई बाइक

प्रतापगढ़। हादसे की तरफ इशारा कर रही घटना किसी के पीछा करने पर तो नहीं हुई, पुलिस इसकी भी जांच कर रही है। जब पुलिस एक्सीडेंट पर जोर देने लगी तो लोगों को वह प्रार्थनापत्र याद आ गया जिसमें सुलभ ने एडीजी व प्रभारी एसपी को लिखा था कि कुछ लोग उनका पीछा करते हैं।

लोग आशंका जताने लगे कि किसी के पीछा करने पर घबराहट में भी हादसा हो सकता है। सबक सिखाने के लिए चलती बाइक पर धक्का मारकर भी गिराया जा सकता है। एसपी आकाश तोमर ने कहा कि सारे बिंदुओं पर विस्तार से जांच की जा रही है।

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