बारिश के साथ बढ़ी गलन

मौसम ने अचानक मिजाज बदला और जिले के कई हिस्सों में बारिश हुई। बारिश के साथ तापमान अचानक गिर गया और गलन बढ़ गई।   बारिश से गेहूं, चना और अरहर को लाभ होगा जबकि मटर, आलू और गोभी की फसल में रोग लगने का खतरा बढ़ गया है।enhanced-with-rain-rot_1485547624
 
बारिश और ठंड के मौसम के बीच पूरे दिन 10 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवा चल रही थी। दोपहर में शहर समेत जिले के कई हिस्सों में हवा का तेज झोका भी चला जिससे लोगों को परेशानी बढ़ गई। गुरुवार की आधी रात के बाद से ही आसमान में बाद छाने लगे थे।

 भोर में करीब पांच बजे बारिश की फुहारें पड़ने लगी। गुरुवार को जहां अधिकतम तापमान 25 डिग्री सेस्लियस रिकार्ड किया गया था वहीं शुक्रवार को जिले में अधिकतम तापमान तीन डिग्री लुढ़क कर 22 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया। हालांकि न्यूनतम तापमान 11 डिग्री सेल्सियस ही रहा।

सुबह से ही मौसम खराब होने की वजह से किसानों के यहां गन्ना की पेराई का काम रोकना पड़ा।  कृषि विज्ञान केंद्र के फसल सुरक्षा वैज्ञानिकडा. संदीप कुमार कहते हैं कि गेहूं, अरहर, चना के लिए इस बारिश से लाभ होगा। उन्होंने कहा कि वायुमंडल में फैली गैसों में 78 प्रतिशत नाइट्रोजन होती है जो बारिश के साथ घुलकर खेत

में पहुंच गई है। इससे फसलों में एक प्रकार से सिंचाई के साथ यूरिया का  छिड़काव भी हो गया है। गेहूं का पीलापन अपने आप दूर हो जाएगा। इसके उलट आलू में झुलसा, मटर में गेरुई और गोभी में काला सड़न रोग लगने का खतरा बढ़ गया है। 

 
 

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