दिल्ली की सभी सीमाओं पर जमे किसान सुबह से शाम 5 बजे तक अनशन पर बैठ गए हैं. इसके अलावा पड़ोसी राज्यों में भी सभी जिलों में धरने प्रदर्शन शुरू हो गया है. किसानों के समर्थन में कई राजनीतिक दल भी उतर आए हैं.
कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों का आंदोलन आज से और तेज करने की तैयारी है. आज दिल्ली की सभी सीमाओं पर जमे किसान सुबह से शाम 5 बजे तक अनशन पर बैठ गए हैं. इसके अलावा पड़ोसी राज्यों में भी सभी जिलों में धरने प्रदर्शन शुरू हो गया है. किसानों के समर्थन में कई राजनीतिक दल भी उतर आए हैं. हरियाणा और पंजाब बॉर्डर पर कांग्रेस रैली निकालेगी.
वहीं, किसानों के अनशन के समर्थन में आज दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल भी उपवास करेंगे. केजरीवाल के अलावा आप के कार्यकर्ता भी पार्टी दफ्तर पर उपवास पर धरना प्रदर्शन करेंगे. केजरीवाल ने केंद्र सरकार से सवाल किया है कि आंदोलन को समर्थन देने वाले पूर्व सैनिक, छात्र, कलाकार, वकील क्या एंटी नेशनल हैं? दरअसल, केंद्र के कई मंत्रियों ने किसान आंदोलन में एंटी नेशनल तत्वों के घुस जाने के आरोप लगाए थे.
इस बीच सीएम अरविंद केजरीवाल ने ट्वीट करके कहा, ‘उपवास पवित्र होता है, आप जहां हैं, वहीं हमारे किसान भाइयों के लिए उपवास कीजिए, प्रभु से उनके संघर्ष की सफलता की प्रार्थना कीजिए, अंत में किसानों की अवश्य जीत होगी.’ अनशन कर रहे किसान नेताओं ने अल्टीमेटम दिया है कि अगर सरकार ने उनकी मांग नहीं मानी तो 19 दिसंबर से वो अनिश्तिचकालीन अनशन शुरू करेंगे.
हरियाणा-राजस्थान सीमा पर किसानों का विरोध प्रदर्शन जारी है. यहां पर दो किसान आमरण-अनशन पर बैठे हैं, उनका कहना है कि अबतक आंदोलन में 11 किसान शहीद हो चुके हैं. ऐसे में सरकार को जिद छोड़नी चाहिए. यहां राजस्थान का पारंपरिक कठपुतली डांस भी दिखाया जा रहा है, इसके जरिए किसान अपने आंदोलन को धार दे रहे हैं. भूख हड़ताल पर बैठे किसानों के समर्थन में अन्य जगहों से भी लोग आ रहे हैं.